मान सिंह जंगपांगी पुत्र श्री धन सिंह जंगपांगी जी.
आई. सी. वार्ड डीडीहाट
मान सिंह जंगपांगी मूल रूप से जोहार घाटी मुनस्यारी के मूल निवासी है .तथा भोटिया जनजाति के है .भोटिया जनजातियो का देश में गोरवमय इतिहाश रहा है. 1962 से पूर्व भोटिया समुदाय भारत में तिब्बत व्यपार भेड़ पालन उनी कारोबार से
संपन्न जीवन निर्वाह करते थे .चीन द्वारा तिब्बत पैर कब्ज़ा
करने के कारण आजीविका के खातिर इनको पलायन
करना पड़ा था.मान सिंह जंगपांगी ने भी 1962 में एक्लोते पुत्र डॉ गोकर्ण सिंह तथा पत्नी के साथ डीडीहाट का रुख किया.थोड़े जम्मा
पूजी से वीरान जगह पर ज़मीन खरीदी. बयाना रजिस्टर कराया दूर तक कोई घर नहीं था .धीरे
धीरे कुछ रिश्तेदारों को वहा बसाया .खूब महेनत किया. एक लोते संतान को पढाया लिखाया डॉ बनाया. तैनाती
मिली . मान सिंह जंगपांगी तथा पत्नी रुकमणी देवी के जिन्दगी
में खुशियों की बहार आ गयी थी .एक इचा थी लड़के की शादी .पोते पोतियो की किलकारी सुनने की .
डॉ गोकर्ण सिंह
जंगपांगी सी.आर. पी
. ऍफ़. में तेनात था .1989 में लड़के की शादी श्रीमती मुन्नी देवी से धूमधाम से हुई.जिसमे रिश्ते दार दूर दूर से शामिल हुए थे.खुसिया
समेटे नहीं समेत रही थी. पर अनहोनी की किसी को तनिक भी भनक
नहीं थी. शुहाग रात आखिरी रात बन गई दूल्हा दुल्हन के लिए.
दूल्हा दुल्हन शुहाग सय्या में मृतक पाए गए .दोनों
तन का मिलन हुआ हो या नही पर आत्मा का मिलन करके सदा सदा के लिए चिर निद्रा में सो
गए थे दूल्हा दुल्हन. घर में कोहराम मच गया था. कई चर्चाये अफवाहे हत्या साजिसो .की कहा सुनी शक भय
को बिरोकेट ने सब कुछ रफा दफा कर दिया. घटना किस्सा बन कर रह
गया . वृध्द दमप्ती पर मुसीबतों का पहाड़ टूट पड़ा. रोये तो कितना रोये आंसुओ ने भी
बहना छोड़ दिया था. छाती पिट कर रह जाते थे .क्या करे .
कुछ समय बाद ऐसे में
एक चमत्कार होता है .वृधाओ
की जिंदग़ी में एक बाला 16 वर्षीया जिसका
नाम ताशिला भुपिना जलांग निवासी नागा लैंड का परवेश होता है. वह मान सिंह जंगपांगी के आगन की
तुलसी बन जाती है .(बिन फेरे हम तेरे ) ताशिला अपने
दादा की उम्र के वृद्ध की पत्नी बन जाती है. वृद्ध दम्पति के
जीवन में बहर आ जाती है. समय बीतने के साथ ही इशवर ने एक
औलाद छिनी थी. तीन औलादे लोटाये.एक
सबसे बड़ी लड़की और दो छोटे लड़के. इसे करिश्मा कहे या चमत्कार.
बच्चे 10.7.8.में पढ़ रहे है. बहुत होसियार और सुंदर है . वर्ष 2011 में इस अजूबे जोड़े ने अपनी विवाह का रजिस्ट्रेसन तहसील डीडीहाट में करा दिया है.
ताशिला भुपिना जलांग
किलिंग्तंग जिला कोहिमा नागालैंड से हे .15
साल की कमसिन उम्र में प्रेम दीवानी बनकर अपने प्रेमी के साथ
नागालैंड से उत्तराखंड चली आई थी. प्यार अँधा होता है .वह जात धर्म क्षेत्र भाषा की मुहताज
नहीं होती है . सुंदर सवाप्नो के साथ उत्तराखंड आई थी.
उत्तराखंड पहुचते ही सारे सपने बिखर गए. उसका
प्रेमी नेत्र सिंह बूम असम रायफल का जवान .ग्राम पयापोड़ी
बलुवाकोट तहसील धारचूला पिथोरागढ़ उत्तराखंड का कुंवारा नहीं चार बच्चो का बाप
निकला . ताशिला के प्रेमी के घर पहुचते ही हंगामा शुरू हो हो
गया घर में प्रेमी ताशिला को अकेला छोड़ कर भाग गया. मारी
पीटी गयी तसिला. गोसाला
में रखी गयी .क्या करे न भाषा समझती न रास्ते का पता
जाये तो कहा जाये. क्या
करे.
बेच दी गयी प्रेमी के बाप द्वारा तसिला को जोलजीबी
में 10 हज़ार रूपये में .फिर भटकते हुए टकराई मान सिंह जंगपांगी से .और बन
गयी सदा सदा के लिए बुजुर्ग मान सिंह जंगपांगी की पत्नी. और
मान सिंह जंगपांगी में लोट आई जवानी . फिर जीवन का संघर्ष
शुरू होता है जो आज तक जारी है .
आज मान सिंह की
मुश्किलें है
डीडीहाट तावन दिन
प्रतिदिन विकसित होता जा रहा है .जनसंख्या बड़ते जा रही है कंक्रीट का
जंगल सुरसा के मुह की तरह फेलता जा
रहा है . जहा मान सिंह का अकेला घर था .वहा आज सेकड़ो घर बन गए है.भविष्य में डीडीहाट का जिला बनना निश्चित है .जमीन की किम्मत आसमान छु रही है. ऐसे में जमीन पर
अराजक तत्वों की नजर है .
तहसील रिकार्ड से मान
सिंह की जमीन गायब
कैश नंबर 955/004 में मेरा जमानती बनने पर न्यालय ने की हैसियत की जांच.
तहसीलदार की रिपोर्ट भूमि शून्य .माकन सरकारी
जमीन में. न्यालय ने मान सिंह को 344 धारा
का अभियुक्त घोषित कर दिया .कदमो के निचे से जमीं खिशक गयी .मान सिंह जंगपांगी क्या करे. 2007 में सजा काट
अल्मोड़ा जेल से आया .फिर संघर्ष मान सिंह जंगपांगी के लिए .
संघर्ष आर .टी. आई.
तथा अन्य माध्यमो से किया कई अपीलों सूचना आयोग का सामना किया .
तब जाके मान सिंह जंगपांगी
नाम की जमीनों को तहसील रिकोर्ड में चड़ने को बेबस हुआ प्रशाशन आज .तावान डीडीहाट में सबसे ज्यादा
जमीन मान सिंह जंगपांगी के पास है.
89 के उम्र में सक्रीय है मान
सिंह जंगपांगी है.उसे फिक्र है उनके न रहने पर क्या होगा
तसिला तथा बच्चो का क्या होता है.जिनका दूर तक कोई रिश्तेदार
नहीं है .
डॉ पुत्र का पेन्सन
उसके मृत्यु पश्चात बंद हो जायेगा पूर्व पत्नी की गत वर्ष 85 के उम्र में देहात हो गया है.
तसिला (तुलसी) को
कुरेदने पर छलछला आती है उसकी आँखे .बहुत बुरा किया नेत्र
सिंह बम ने धोखे बाज निकला किश मुँह से वापस जाती नागालैंड .भाई
बहिनों की साथियों की नागालैंड की खूब याद आती है. बच्चो को
डॉक्टर .इंजीरिंग. सेना में अफसर
बनाउंगी तब जाउंगी नागालैंड.
मान सिंह का बच्चो की
तरह ख्याल रखती है. लड़की
नवोदय विद्यालय पिथोरगद में पड़ती है एक लड़के ने कालेज टॉप किया है. बेरहम दुनिया भले मखोल बनाये वेमेल जोड़े का. बच्चो
को डॉक्टर .इंजीरिंग. सेना में अफसर
बनाउंगी तब जाउंगी नागालैंड.
मान सिंह का बच्चो की
तरह ख्याल रखती है. लड़की
नवोदय विद्यालय पिथोरगद में पड़ती है एक लड़के ने कालेज टॉप किया है. बेरहम दुनिया भले मखोल बनाये वेमेल जोड़े का . मखोल
बनाये उसका परवाह नहीं तासिला उर्फ़ तुलसी को. में तसल्ली
देता फिक्रमत करो .इशवर है न भेज देगा किसी मसीहा को.
हर कोई किश्मत लेकर आता है दुनिया में इति.
Man Singh Jangpangi originally from Munsyari native to the Johar Valley.And Bhotia the tribe.The
Bhotias tribe have a proud history in a country.Tibetan
community in India before 1962 Bhotia trade the live sheep trade would follow
the rise.China occupied Tibet leg had to flee due
to them for their livelihood. only son Man Singh in 1962 by Dr. Gokarn Singh
and with wife moved to Didihat. Accumulated capital he purchased land from some deserted place. Earnest
far the house was not registered.Gradually built some
relatives there.The great labor. Designed to teach children to become a Dr. Were deployed. Man Singh and his wife Rukmini Devi
was to unleash a wave of happiness in life.Desire was a married guy. grandchildren to hear the laughter.
Dr. Gokarn Singh Jangpangi
(C.R.P.F.) and Smt Munni Devi was married to the guy in 1989 from
the fanfare.Which was attended by relatives from far away. The idea was not unusual at all to
anyone. Shuhag night last night became the bride and
groom. Newlyweds
were found dead in Shuhag Syya.Is the union of the
body or not, the union of the soul endures forever and ever slept in sleeping
bride groom. House was chaos. Many rumors murder. Biuroket doubt heard the fear of
all that has been packed off. The event became a
story. Older couple broke loose on the
problems. Teared turned away from eys .
Pitt would be the chest.What
to do.
After a while, there is a Miracle The 16-year-old girl
named Tashila Bhupina Jlang a resident
of Naga Land 's came . (Bin phere hum tere) Tashila becomes the wife of
like grandfather's old age. Elderly couple comes out in life. With the passage of time they have a three child. The biggest girl and two
little boys. Called it a miracle or miracles. Class 10.7.8 child Are
reading. They are Mindful and is very beautiful. In
2011 this incredible couple has made their marriage registrations in Tehsil
Didihat.
Kohima district of
Nagaland Tashila Bhupina Jlang Kilingtng love addict as my 15 year old young.
came Uttarakhand from Nagaland was with her Lover. Love
is blind. Religion in the race is not Dependent
on language. Uttarakhand
came with beautiful Dream . reaching Uttarakhand dreams were shattered. Netra
Singh bum Assam Rifles personnel of her lover. Grams, Tehsil Dharchula Pyapodi
Bluwakot having four kid's father was not a virgin Pithoragarh Uttarakhand. Tashila started ruckus reaching the boyfriend's house was left alone
in the house ran Tashila lover. Did one beat
Tsila. Placed in Gosala.Do
not know if you dont understand the language, speaking of the way. What to do.
My boyfriends father sold me
at 10thousand rupees in the Joljibi .Man Singh
Jangpangi struck again from wandering.Forever and
always the elderly became the wife of Man Singh Jangpangi. Man Singh was rolling in and youth. Then begins the struggle of life that continues even
today.
Didihat Twon is growing
day by day.Population is readily Felts concrete
jungle is like the mouth of Sursa. Man Singh was
the only place where.There have now become many
home. Didihat is sure to be in the future of the
district. Of land has skyrocketed prices . The eye of the negative elements on the ground.
Cash No. 955/004 to be
secured in Nyalaya I check the status. Tahsildar
reported ground zero.home constructed on
government land. Section 344 of the accused
Nyalaya Man Singh declared.The soil was steps
below Man Singh Jangpangi feet what to do
I am Prison sentence in 2007 came from Almora. The struggle for Man Singh Jangpangi began and several appeals to the
Information Commission faced. The name of the land
go Man Singh Jangpangi Tehsil was helpless to climb to record Aministrtion today.in Didihat Compensation Man Singh
Jangpangi possesses the highest ground.
Is active at the age of 89
Man Singh Jangpangi .When she is not his concern what happens to Tasila
and children. A relative who is not far.
Will be closed after the
death of Dr Pensn son of ex-wife last year at the age of 85 is the countryside.
Tasila (tulasi) comes on and open his eyes. Too bad the Netra Singh is back from her Nagaland
turned out to cheat.Brother and sisters miss the
partners plenty of Nagaland. Children to the
doctor. enjeeniring . The officer will make the
army grow, Nagaland.
Man Singh takes care of
the children. Girl study in Pithorgarh Navodaya
Vidyalaya and son in the college. Merciless world
made even laugh on Mismatch pairs. Tasila her not care. concerned about reassuring to me.the god will send a
Messiah to do. Kishmt brings everyone in the
world dead.
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